कालसर्प दोष की काट क्या है? जानिए प्रभावी उपाय और पूजन विधि
कालसर्प दोष की काट के लिए उज्जैन में पूजा, मंत्र जाप, और यंत्र पूजा जैसे उपाय अत्यंत प्रभावी हैं। महामृत्युंजय मंत्र, नाग गायत्री मंत्र, राहु-केतु मंत्र, और हनुमान चालीसा जैसे उपाय, विशेष रूप से उज्जैन के पवित्र स्थानों पर, दोष के प्रभाव को तेजी से कम करते हैं। सही विधि, समय, और श्रद्धा के साथ इन उपायों को अपनाएँ, और अपने जीवन को समृद्ध और शांतिपूर्ण बनाएँ।
कालसर्प दोष की काट के लिए शक्तिशाली उपाय क्या है?

कालसर्प दोष की काट के लिए वैदिक पूजा, मंत्र जाप, यंत्र पूजा, और दान जैसे उपाय बहुत प्रभावी हैं। कालसर्प दोष जीवन में रुकावटें जरूर लाता है, लेकिन इसका समाधान भी संभव है सच्चे विश्वास, सही स्थान पर पूजा, और नियमित साधना से कालसर्प दोष से छुटकारा मिल सकता है।
उज्जैन में कालसर्प दोष निवारण पूजा
कालसर्प दोष पूजा एक विशेष वैदिक अनुष्ठान है जिसे राहु-केतु की शांति के लिए किया जाता है। यह पूजा आमतौर पर महाकाल की नगरी उज्जैन, त्र्यंबकेश्वर (नासिक), काशी या अन्य शक्तिशाली तीर्थ स्थानों पर करवाई जाती है। उज्जैन में काल सर्प दोष पूजा सबसे प्रभावी मानी जाती है, क्योंकि यहाँ का महाकालेश्वर मंदिर और क्षिप्रा नदी का तट आध्यात्मिक ऊर्जा से परिपूर्ण है। यह पूजा भगवान शिव, नाग देवता, और हनुमान जी की कृपा प्राप्त करने के लिए की जाती है।
उज्जैन में कालसर्प दोष पूजा में क्या-क्या होता है?—
1. संकल्प और ग्रह शांति
पूजा की शुरुआत में पंडित जी जन्म नक्षत्र और दोष के प्रकार के अनुसार संकल्प दिलवाते हैं। पंडित के साथ संकल्प लें, जिसमें आपका नाम, गोत्र, और पूजा का उद्देश्य बताया जाए।
2. राहु-केतु पूजा
राहु और केतु के मंत्रों से विशेष पूजा की जाती है। और राहु-केतु मंत्र उच्चारण किए जाते है।
3. नाग पूजा
नाग-नागिन की मूर्ति बनाकर उनका पूजन किया जाता है और अंत में उन्हें जल में विसर्जित किया जाता है।
4. पिंडदान
यदि पितृदोष या पूर्व जन्म के कर्म जुड़े हों, तो पिंडदान कराया जाता है।
5. महामृत्युंजय जाप और रुद्राभिषेक
शिव जी की उपासना द्वारा दोष की नकारात्मक ऊर्जा को शांत किया जाता है। शिवलिंग पर दूध, गंगाजल, और बिल्वपत्र चढ़ाएँ।
कालसर्प दोष की काट के अन्य प्रभावी उपाय
महामृत्युंजय मंत्र जाप
मंत्र:
ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगंधिम् पुष्टिवर्धनम्।
उर्वारुकमिव बंधनान् मृत्योर्मुक्षीय ममृतात्।।
यह मंत्र भगवान शिव को समर्पित है और कालसर्प दोष के प्रभाव को कम करने में अत्यंत प्रभावी है। यह स्वास्थ्य, दीर्घायु, और मानसिक शांति प्रदान करता है।
नाग गायत्री मंत्र जाप
मंत्र:
ॐ नवकुलाय विद्महे विषदन्ताय धीमहि तन्नो सर्पः प्रचोदयात्।।
यह मंत्र नाग देवता को समर्पित है, जो राहु और केतु से संबंधित हैं। यह कालसर्प दोष की तीव्रता को कम करता है और आध्यात्मिक शांति प्रदान करता है।
राहु और केतु मंत्र जाप
राहु मंत्र:
ॐ भ्रां भ्रीं भ्रौं सः राहवे नमः।।
केतु मंत्र:
ॐ स्रां स्रीं स्रौं सः केतवे नमः।।
ये मंत्र राहु और केतु की नकारात्मक ऊर्जा को शांत करते हैं, जो कालसर्प दोष के प्रमुख कारक हैं। ये भ्रम, भय, और आध्यात्मिक बाधाओं को दूर करते हैं।
हनुमान चालीसा और हनुमान अष्टक पाठ
हनुमान चालीसा और हनुमान अष्टक का पाठ राहु और केतु के प्रभाव को कम करता है। हनुमान जी नकारात्मक ऊर्जा, भय, और दोषों को दूर करने में सहायक हैं।
कालसर्प दोष की काट के लिए उज्जैन का महत्व क्या है?
उज्जैन कालसर्प दोष निवारण के लिए सबसे शक्तिशाली स्थान माना जाता है। यहाँ के प्रमुख स्थान और उनकी विशेषताएँ हैं:
- महाकालेश्वर मंदिर: भगवान शिव की कृपा के लिए आदर्श, जो कालसर्प दोष को शांत करता है।
- रामघाट (क्षिप्रा नदी): स्नान और पूजा के लिए पवित्र, जो आत्मिक शुद्धि प्रदान करता है।
- काल भैरव मंदिर: राहु और केतु की शांति के लिए उपयुक्त।
- मंगलनाथ मंदिर: ग्रह दोष निवारण के लिए प्रसिद्ध।
उज्जैन में कालसर्प दोष की काट के लाभ क्या है?
- आर्थिक समृद्धि: कर्ज और वित्तीय समस्याओं से मुक्ति।
- स्वास्थ्य सुधार: मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य में सुधार।
- वैवाहिक सुख: विवाह में देरी और रिश्तों में तनाव का समाधान।
- करियर में प्रगति: नौकरी और व्यवसाय में बाधाएँ हटती हैं।
- आध्यात्मिक शांति: मन की शांति और भगवान शिव व हनुमान जी से गहरा संबंध।
उज्जैन में कालसर्प दोष पूजा बुकिंग कैसे करें?
यदि आप उज्जैन में कालसर्प दोष पूजा करवाना चाहते हैं, तो आज ही उज्जैन के अनुभवी पंडित अतुल अग्निहोत्री जी से संपर्क करें और पूजा की सही विधि से इस दोष से मुक्ति पाएं। नीचे दिये गए नंबर पर कॉल करें और अपनी पूजा बुक करें।